मेडिकल स्टोर खोलने के लिए जरूरी डिग्री और भारत के नियम

मेडिकल स्टोर खोलने के लिए जरूरी डिग्री और भारत के नियम  

   मेडिकल स्टोर का बढ़ता महत्व  

आज के समय में मेडिकल स्टोर या फार्मेसी लोगों की दैनिक जरूरतों का एक अहम हिस्सा बन चुके हैं। गांव हो या शहर, हर जगह दवाइयों की मांग लगातार बढ़ रही है। इसकी वजह से एक मेडिकल स्टोर खोलना कई लोगों के लिए एक लाभदायक व्यवसाय बन गया है। लेकिन यह कोई सामान्य दुकान नहीं है, बल्कि इसे शुरू करने के लिए कुछ विशेष योग्यताएं और कानूनी नियमों का पालन करना जरूरी होता है।  

Madical Store opening rules
फोटो istock 

   मेडिकल स्टोर खोलने के लिए जरूरी डिग्रियां  

दवा की दुकान खोलने के लिए सबसे पहले फार्मेसी से संबंधित डिग्री होना आवश्यक है। इसके लिए निम्नलिखित डिग्रियों में से किसी एक की आवश्यकता होती है:  

  • डिप्लोमा इन फार्मेसी (D.Pharm) – यह दो साल का कोर्स है जिसे पूरा करने के बाद आप मेडिकल स्टोर खोलने के योग्य हो जाते हैं।  
  • बैचलर इन फार्मेसी (B.Pharm) – यह चार साल की डिग्री है और इसके बाद आप न केवल मेडिकल स्टोर खोल सकते हैं बल्कि फार्मास्युटिकल कंपनियों में भी काम कर सकते हैं।  

यह ध्यान रखना जरूरी है कि ये डिग्रियां फार्मेसी काउंसिल ऑफ इंडिया (PCI) द्वारा मान्यता प्राप्त संस्थान से ही होनी चाहिए। बिना इसके आपको लाइसेंस नहीं मिल पाएगा। 

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   क्या डिग्री न होने पर भी मेडिकल स्टोर खोला जा सकता है?  

अगर आपके पास खुद फार्मेसी की डिग्री नहीं है, तो भी आप मेडिकल स्टोर खोल सकते हैं, लेकिन इसके लिए आपको एक लाइसेंसधारी फार्मासिस्ट को अपनी दुकान पर नियुक्त करना होगा। यह फार्मासिस्ट रजिस्टर्ड होना चाहिए और उसका नाम स्टेट फार्मेसी काउंसिल में दर्ज होना चाहिए। साथ ही, यह सुनिश्चित करना होगा कि वह फार्मासिस्ट दुकान के समय पर हमेशा मौजूद रहे।  

   मेडिकल स्टोर खोलने के लिए लाइसेंस और कानूनी प्रक्रिया  

मेडिकल स्टोर खोलने के लिए सिर्फ डिग्री ही काफी नहीं है, बल्कि सरकारी लाइसेंस लेना भी अनिवार्य है। इसके लिए निम्नलिखित प्रक्रिया का पालन करना होता है:  

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 1. ड्रग लाइसेंस प्राप्त करना  

  •  मेडिकल स्टोर खोलने के लिए ड्रग लाइसेंस लेना जरूरी होता है, जो स्टेट ड्रग कंट्रोलर द्वारा जारी किया जाता है।  
  •  इसके लिए आवेदन करते समय दुकान का स्थान, आकार, भंडारण सुविधा और फार्मासिस्ट की योग्यता से संबंधित दस्तावेज जमा करने होते हैं।  

 2. दुकान का स्थान और मापदंड  

  •  दुकान का स्थान आबादी वाले इलाके में होना चाहिए और उसमें दवाइयों को सुरक्षित रखने के लिए उचित भंडारण सुविधा होनी चाहिए।  
  •  दुकान का क्षेत्रफल कम से कम 10 वर्ग मीटर होना चाहिए और वहां पर्याप्त रोशनी व हवा की व्यवस्था होनी चाहिए।  

 3. एक से अधिक दुकानें खोलने के नियम  

  •  अगर आप एक से ज्यादा मेडिकल स्टोर खोलना चाहते हैं, तो प्रत्येक दुकान के लिए अलग लाइसेंस लेना होगा।  
  •  एक ही लाइसेंस पर कई दुकानें चलाना कानूनन अपराध है और इस पर भारी जुर्माना या लाइसेंस रद्द हो सकता है।  

 4. फार्मेसी काउंसिल में रजिस्ट्रेशन  

  •  दुकान खोलने से पहले फार्मासिस्ट को स्टेट फार्मेसी काउंसिल में रजिस्टर्ड होना चाहिए।  
  •  इसके लिए D.Pharm या B.Pharm की डिग्री के साथ-साथ इंटर्नशिप का प्रमाण पत्र भी जरूरी होता है।  

   नियमों का उल्लंघन करने पर दंड  

मेडिकल स्टोर से जुड़े नियमों का पालन न करने पर कड़ी कार्रवाई हो सकती है, जैसे:  

  •  बिना लाइसेंस के दवा बेचने पर जुर्माना या जेल की सजा हो सकती है।  
  •  यदि दुकान पर फार्मासिस्ट की अनुपस्थिति पाई जाती है, तो लाइसेंस रद्द किया जा सकता है।  
  •  नकली या एक्सपायर्ड दवाएं बेचने पर सख्त कानूनी कार्रवाई होती है।  

   निष्कर्ष  

मेडिकल स्टोर खोलना एक जिम्मेदारी भरा काम है क्योंकि यह सीधे लोगों के स्वास्थ्य से जुड़ा होता है। इसलिए, सरकार ने इसके लिए सख्त नियम बनाए हैं। अगर आप इस व्यवसाय में आना चाहते हैं, तो सही डिग्री हासिल करें, लाइसेंस प्राप्त करें और सभी कानूनी नियमों का पालन करें। इससे न केवल आपका व्यवसाय सफल होगा, बल्कि आप समाज के लिए भी एक विश्वसनीय सेवा प्रदान कर पाएंगे।

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